लिप्यंतरण:( Innnee wajjahtu wajhiya lillazee fataras samaawaati wal arda haneefanw wa maaa ana minal mushrikeen )
56. इबराहीम अलैहिस्सलाम उस युग में नबी हुए जब बाबिल तथा नेनवा के निवासी आकाशीय ग्रहों की पूजा कर रहे थे। परंतु इबराहीम अलैहिस्सलाम पर अल्लाह ने सत्य की राह खोल दी। उन्होंने इन आकाशीय ग्रहों पर विचार किया तथा उनको निकलते और फिर डूबते देखकर यह निर्णय लिया कि ये किसी की रचना तथा उसके अधीन हैं। और इनका रचयिता कोई और है। अतः रचित तथा रचना कभी पूज्य नहीं हो सकती, पूज्य वही हो सकता है जो इन सबका रचयिता तथा व्यवस्थापक है।
The tafsir of Surah Al-Anam verse 79 by Ibn Kathir is unavailable here.
Please refer to Surah Anam ayat 74 which provides the complete commentary from verse 74 through 79.
सूरा अल-अनआम आयत 79 तफ़सीर (टिप्पणी)