कुरान उद्धरण : 
بِسۡمِ ٱللهِ ٱلرَّحۡمَـٰنِ ٱلرَّحِيمِ

قَالُوٓاْ أَرۡجِهۡ وَأَخَاهُ وَأَرۡسِلۡ فِي ٱلۡمَدَآئِنِ حَٰشِرِينَ

उन्होंने कहा : इसे और इसके भाई के मामले को स्थगित कर दो और नगरों में जमा करने वाले भेज दो।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 111

يَأۡتُوكَ بِكُلِّ سَٰحِرٍ عَلِيمٖ

वे तेरे पास हर कुशल जादूगर ले आएँ।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 112

وَجَآءَ ٱلسَّحَرَةُ فِرۡعَوۡنَ قَالُوٓاْ إِنَّ لَنَا لَأَجۡرًا إِن كُنَّا نَحۡنُ ٱلۡغَٰلِبِينَ

और जादूगर फ़िरऔन के पास आए। उन्होंने कहा : यदि हम ही विजयी हुए, तो निश्चय हमें अवश्य कुछ पुरस्कार मिलेगा?

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 113

قَالَ نَعَمۡ وَإِنَّكُمۡ لَمِنَ ٱلۡمُقَرَّبِينَ

उसने कहा : हाँ! और निश्चय तुम अवश्य निकटवर्तियों में से हो जाओगे ।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 114

قَالُواْ يَٰمُوسَىٰٓ إِمَّآ أَن تُلۡقِيَ وَإِمَّآ أَن نَّكُونَ نَحۡنُ ٱلۡمُلۡقِينَ

उन्होंने कहा : ऐ मूसा! या तो तुम (पहले) फेंको, या हम ही फेंकने वाले हों?

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 115

قَالَ أَلۡقُواْۖ فَلَمَّآ أَلۡقَوۡاْ سَحَرُوٓاْ أَعۡيُنَ ٱلنَّاسِ وَٱسۡتَرۡهَبُوهُمۡ وَجَآءُو بِسِحۡرٍ عَظِيمٖ

मूसा ने कहा : तुम्हीं फेंको। चुनाँचे जब उन्होंने (रस्सियाँ) फेंकीं, तो लोंगों की आँखों पर जादू कर दिया, और उन्हें सख़्त भयभीत कर दिया, और वे बहुत बड़ा जादू लेकर आए।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 116

۞وَأَوۡحَيۡنَآ إِلَىٰ مُوسَىٰٓ أَنۡ أَلۡقِ عَصَاكَۖ فَإِذَا هِيَ تَلۡقَفُ مَا يَأۡفِكُونَ

और हमने मूसा को वह़्य की कि अपनी लाठी फेंको, तो अचानक वह उन चीज़ों को निगलने लगी, जो वे झूठ-मूठ बना रहे थे।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 117

فَوَقَعَ ٱلۡحَقُّ وَبَطَلَ مَا كَانُواْ يَعۡمَلُونَ

अतः सत्य सामने आ गया और जो कुछ वे कर रहे थे, असत्य[42] होकर रह गया।

तफ़्सीर:

42. क़ुरआन ने अब से तेरह सौ वर्ष पहले यह घोषणा कर दी थी कि जादू तथा मंत्र-तंत्र निर्मूल हैं।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 118

فَغُلِبُواْ هُنَالِكَ وَٱنقَلَبُواْ صَٰغِرِينَ

अंततः वे उस जगह पराजित हो गए और अपमानित होकर लौटे।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 119

وَأُلۡقِيَ ٱلسَّحَرَةُ سَٰجِدِينَ

और जादूगर सजदे में गिर गए।

सूरह का नाम : Al-Araf   सूरह नंबर : 7   आयत नंबर: 120

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