कुरान उद्धरण : 
بِسۡمِ ٱللهِ ٱلرَّحۡمَـٰنِ ٱلرَّحِيمِ

وَإِذَا ٱلرُّسُلُ أُقِّتَتۡ

और जब रसूलों को निर्धारित समय पर एकत्र किया जाएगा।[5]

तफ़्सीर:

5. उनके तथा उनके समुदायों के बीच निर्णय करने के लिए, और रसूल गवाही देंगे।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 11

لِأَيِّ يَوۡمٍ أُجِّلَتۡ

किस दिन के लिए वे विलंबित किए गए हैं?

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 12

لِيَوۡمِ ٱلۡفَصۡلِ

निर्णय के दिन के लिए।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 13

وَمَآ أَدۡرَىٰكَ مَا يَوۡمُ ٱلۡفَصۡلِ

और आपको किस चीज़ ने अवगत कराया कि निर्णय का दिन क्या है?

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 14

وَيۡلٞ يَوۡمَئِذٖ لِّلۡمُكَذِّبِينَ

उस दिन झुठलाने वालों के लिए बड़ा विनाश है।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 15

أَلَمۡ نُهۡلِكِ ٱلۡأَوَّلِينَ

क्या हमने पहलों को विनष्ट नहीं किया?

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 16

ثُمَّ نُتۡبِعُهُمُ ٱلۡأٓخِرِينَ

फिर हम उनके पीछे बाद वालों को भेजेंगे।[6]

तफ़्सीर:

6. अर्थात उन्हीं के समान यातना ग्रस्त कर देंगे।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 17

كَذَٰلِكَ نَفۡعَلُ بِٱلۡمُجۡرِمِينَ

हम अपराधियों के साथ ऐसा ही करते हैं।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 18

وَيۡلٞ يَوۡمَئِذٖ لِّلۡمُكَذِّبِينَ

उस दिन झुठलाने वालों के लिए बड़ा विनाश है।

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 19

أَلَمۡ نَخۡلُقكُّم مِّن مَّآءٖ مَّهِينٖ

क्या हमने तुम्हें एक तुच्छ पानी से पैदा नहीं किया?

सूरह का नाम : Al-Mursalat   सूरह नंबर : 77   आयत नंबर: 20

नूजलेटर के लिए साइन अप करें