कुरान उद्धरण : 
بِسۡمِ ٱللهِ ٱلرَّحۡمَـٰنِ ٱلرَّحِيمِ

وَٱذۡكُرۡ فِي ٱلۡكِتَٰبِ إِبۡرَٰهِيمَۚ إِنَّهُۥ كَانَ صِدِّيقٗا نَّبِيًّا

तथा इस किताब में इबराहीम की चर्चा करें, निःसंदेह वह बहुत सच्चा (और) नबी था।

إِذۡ قَالَ لِأَبِيهِ يَـٰٓأَبَتِ لِمَ تَعۡبُدُ مَا لَا يَسۡمَعُ وَلَا يُبۡصِرُ وَلَا يُغۡنِي عَنكَ شَيۡـٔٗا

जब उसने अपने पिता से कहा : ऐ मेरे पिता! आप उस चीज़ को क्यों पूजते हैं, जो न सुनती है और न देखती है और न आपके किसी काम आती है?

يَـٰٓأَبَتِ إِنِّي قَدۡ جَآءَنِي مِنَ ٱلۡعِلۡمِ مَا لَمۡ يَأۡتِكَ فَٱتَّبِعۡنِيٓ أَهۡدِكَ صِرَٰطٗا سَوِيّٗا

ऐ मेरे पिता! निःसंदेह मेरे पास वह ज्ञान आया है, जो आपके पास नहीं आया, अतः आप मेरा अनुसरण करें, मैं आपको सीधा मार्ग दिखाऊँगा।

يَـٰٓأَبَتِ لَا تَعۡبُدِ ٱلشَّيۡطَٰنَۖ إِنَّ ٱلشَّيۡطَٰنَ كَانَ لِلرَّحۡمَٰنِ عَصِيّٗا

ऐ मेरे पिता! शैतान की पूजा न करें। निःसंदेह शैतान हमेशा से रहमान (परम दयालु अल्लाह) का अवज्ञाकारी है।

يَـٰٓأَبَتِ إِنِّيٓ أَخَافُ أَن يَمَسَّكَ عَذَابٞ مِّنَ ٱلرَّحۡمَٰنِ فَتَكُونَ لِلشَّيۡطَٰنِ وَلِيّٗا

ऐ मेरे पिता! वास्तव में, मुझे डर है कि आपको रहमान (परम दयालु) की ओर से कोई यातना आ लगे, फिर आप शैतान के मित्र हो जाएँगे।

قَالَ أَرَاغِبٌ أَنتَ عَنۡ ءَالِهَتِي يَـٰٓإِبۡرَٰهِيمُۖ لَئِن لَّمۡ تَنتَهِ لَأَرۡجُمَنَّكَۖ وَٱهۡجُرۡنِي مَلِيّٗا

उसने कहा : क्या तू हमारे पूज्यों से विमुख हो रहा है, ऐ इबराहीम!? निश्चय यदि तू बाज़ न आया, तो मैं अवश्य ही तुझे संगसार कर दूँगा और तू लंबे समय के लिए मुझसे अलग हो जा।

قَالَ سَلَٰمٌ عَلَيۡكَۖ سَأَسۡتَغۡفِرُ لَكَ رَبِّيٓۖ إِنَّهُۥ كَانَ بِي حَفِيّٗا

(इबराहीम ने) कहा : आपपर सलाम हो! मैं अपने पालनहार से आपके लिए अवश्य क्षमा की प्रार्थना करूँगा। निःसंदेह वह हमेशा से मुझपर बहुत दयालु है।

وَأَعۡتَزِلُكُمۡ وَمَا تَدۡعُونَ مِن دُونِ ٱللَّهِ وَأَدۡعُواْ رَبِّي عَسَىٰٓ أَلَّآ أَكُونَ بِدُعَآءِ رَبِّي شَقِيّٗا

तथा मैं आप लोगों से और उन चीज़ों से जिन्हें आप लोग अल्लाह के सिवा पुकारते हैं, किनारा करता हूँ और अपने पालनहार को पुकारता हूँ। आशा है कि मैं अपने रब को पुकारकर असफल नहीं रहूँगा।

فَلَمَّا ٱعۡتَزَلَهُمۡ وَمَا يَعۡبُدُونَ مِن دُونِ ٱللَّهِ وَهَبۡنَا لَهُۥٓ إِسۡحَٰقَ وَيَعۡقُوبَۖ وَكُلّٗا جَعَلۡنَا نَبِيّٗا

फिर जब वह उनसे और उन चीज़ों से जिनकी वे अल्लाह के सिवा पूजा करते थे, अलग हो गया, तो हमने उसे इसहाक़ और याक़ूब प्रदान किए और हर एक को हमने नबी बनाया।

وَوَهَبۡنَا لَهُم مِّن رَّحۡمَتِنَا وَجَعَلۡنَا لَهُمۡ لِسَانَ صِدۡقٍ عَلِيّٗا

तथा हमने उन्हें अपनी रहमत से हिस्सा दिया और उन्हें बहुत ऊँची, सच्ची ख्याति प्रदान की।

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